समापन समारोह में पवनदीप और अरुणिता के शानदार गीतों ने दर्शकों को किया मंत्रमुग्ध, 37 विभूतियों एवं 4 संस्थाओं को किया गया सम्मानित

(छत्तीसगढ़ प्रयाग न्यूज) :- छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर आयोजित तीन दिवसीय राज्योत्सव के समापन तथा राज्य अलंकरण समारोह के अवसर पर मुख्य अतिथि उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि विकसित भारत के निर्माण के लिए सबकी भागीदारी की जरूरत है। इसमें छत्तीसगढ़ का योगदान बढ़चढ़कर होगा। इस अवसर पर छत्तीसगढ़ के 36 अलंकरण से विभिन्न क्षेत्रों से उत्कृष्ट योगदान देने वाले 37 विभूतियों एवं 4 संस्थाओं को सम्मानित किया।
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ देश के लिए एक मिसाल, यहां मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में विकास के नये कीर्तिमान बन रहे हैं। इस मौके पर उन्होंने राज्य अलंकरण से सम्मानित सभी विभूतियों कोे बधाई देते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ के 36 सम्मान, जिन्हें देखकर मुझे ऊर्जा मिली है।
पवनदीप और अरुणिता ने दी शानदार प्रस्तुति
राज्योत्सव के तीसरे दिन समापन समारोह में पवनदीप और अरुणिता ने शानदार गीतों की सुंदर प्रस्तुति दी। इन दोनों ही प्रख्यात गायकों ने एक के बाद एक शानदार गीत गाकर समारोह में समां बांध दिया। मेरी दुआओं से आती है सदा यही, मेरी होके हमेशा ही रहना जैसे गीतों ने वातावरण में तरंग जगा दी। दर्शक अपने पसंदीदा गानों को गाने का आग्रह करते रहे। देर शाम तक कलाकारों ने सुंदर प्रस्तुति कर सबका मन प्रसन्न कर दिया।
इसके पहले जादू बस्तर का कार्यक्रम की प्रस्तुति की गई। इस कार्यक्रम में बस्तर के अनूठे संगीत की प्रस्तुति ने लोगों का दिल जीत लिया। बस्तर ने हमेशा से ही अपने भीतर एक लोकधुन को सहेज कर रखा है जो मीठी है दिल को छू लेने वाली है। आज इन सुंदर लोकधुनों की प्रस्तुति हुई। पूरा वातावरण एक अनूठे स्वरसंसार में डूब गया। लोगों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों को बहुत सराहा और कलाकारों को भरपूर प्रोत्साहित किया। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने भी अपने कैबिनेट सहयोगियों के साथ सांस्कृतिक संध्या का आनंद लिया।
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