महानदी पुल से रेलिंग की चोरी, राहगीरों की सुरक्षा खतरे में, नजर हटी तो सीधे पुल से नीचे, अधिकारी नहीं दे रहे ध्यान

(छत्तीसगढ़ प्रयाग न्यूज) :– नवापारा से मगरलोड को जोड़ने वाले सोमवारी बाजार के महानदी पर बने पुल में लगे सुरक्षा घेरे में चोरों की नजर गड़ गई है। पिछले कुछ महीनो से सुरक्षा घेरे के रूप में लगे लोहे के पाइपों को चोरी करने का सिलसिला जारी है। कई जगहों पर तो राड को काटकर पूरी तरह से खुला छोड़ दिया गया है। पिछले कुछ ही महीने से लगातार यह घटनाएं बढ़ रही है। लेकिन जिम्मेदार विभाग इस तरफ बिल्कुल भी ध्यान नहीं दे रहा है। जिससे कभी भी बड़ी घटना से इंकार नहीं किया जा सकता।

राहगीरों की जान खतरे में

बता दे कि कुलेश्वरनाथ महादेव मंदिर और मगरलोड की तरफ जाने वाले राहगीर इसी पुल से बड़ी संख्या में गुजरते है। शाम को घूमने जाने वाले नगरवासी भी बड़ी संख्या में इस पुल पर पहुंचते है। ऐसे में पुल पर कई स्थान पर सुरक्षा घेरा का ना होना कभी भी बड़ी घटना को आमंत्रित कर सकता है। इस पुल से होकर चलने वाले राहगीरों को बड़ा जोखिम उठाना पड़ सकता है। धोखे से भी नजर हटी तो सीधे पुल से नीचे गहरी नदी में गिर सकते है। जिससे जान माल की बड़ी हानि हो सकती है। इस बात को लेकर राहगीरों में भय और चिंता बनी हुई है। यह पुल नवापारा नगर के सोमवारी बाजार वार्ड से लगा हुआ है।

रखरखाव के अभाव में रेलिंग हो रही चोरियां

आपको बता दें कि यह पुल रायपुर जिले को सीधे धमतरी जिले से जोड़ने का काम करती है। बड़ी संख्या में रायपुर धमतरी और गरियाबंद जिले के राहगीर इस मार्ग में आवागमन करते है। जानकारी के अनुसार 5.50 करोड़ की लागत में इस पुल का निर्माण किया गया है। लेकिन इनके रखरखाव करने वाले जिम्मेदारों की लापरवाही के कारण चोर सुरक्षा घेरे में लगे रेलिंग को ही उड़ाकर ले जा रहे हैं जिसकी पुछ परख करने वाला कोई नहीं है। लोगों की सुरक्षा दांव पर लगी हुई है।

रेसिडेंट इंजीनियर चंद्रशेखर शिरोले शेलाडिया एसोसिएट्स आईएनसी ने कहा कि आपके माध्यम से मामला संज्ञान में आया है विभागीय अधिकारियों से चर्चा कर अज्ञात चोरों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करवाते हैं।

छत्तीसगढ़ प्रयाग न्यूज से जुड़ने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें

https://chat.whatsapp.com/ByoSNL9jFiJAghfKGiFAzm

यह खबर भी जरुर पढ़े

13 वर्षों में ही महानदी पुल हो रहा जर्जर, ओवरलोड रेत वाहनों से हो रहा ज्यादा नुकसान, जिम्मेदार अधिकारियों की उदासीनता बनी बड़ी वजह

Related Articles

Back to top button